कृपया अपने बहुमूल्य विचार अवश्य व्यक्त करें
Tuesday, April 24, 2007
कल रात जब मैंने
कल रात जब मैंने
आस्था का दीप जलाया
अमावस में भी
मेरी खिड़की पर
पूरा चांद उतर आया
हौले से मेरे करीब
मेरा प्यार मुसकाया
१९/४/२००७
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